रांची, 4 सितंबर 2025: झारखंड में सहायक आचार्य (कक्षा 1-5) भर्ती नियमावली पर विवाद गहरा गया है। TET (शिक्षक पात्रता परीक्षा) पास अभ्यर्थियों ने मुख्य परीक्षा में 60% न्यूनतम अंकों की अनिवार्यता हटाने की मांग की है। TET सफल सहायक आचार्य संघ के संरक्षक प्रमोद कुमार ने कहा कि TET केवल पात्रता परीक्षा है, मेरिट का आधार नहीं। इस शर्त से हजारों योग्य अभ्यर्थी बाहर हो जाएंगे। 3 सितंबर को संघ ने शिक्षा सचिव को ज्ञापन सौंपकर मांगें पूरी न होने पर आंदोलन की चेतावनी दी।
विवाद का दूसरा कारण आरक्षण नीति है। संघ चाहता है कि उच्च अंक पाने वाले आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों को सामान्य श्रेणी में माना जाए। झारखंड में 26,001 पदों की भर्ती 2023 से अटकी है। 2024 में संशोधित नियमावली में SC/ST/OBC को 5% और PVTG को 7% अंकों की छूट दी गई, पर अभ्यर्थी इसे अपर्याप्त मानते हैं। नॉर्मलाइजेशन प्रक्रिया भी विवादास्पद है, जिसके कारण 5,008 पदों में से केवल 2,754 अभ्यर्थी पास हुए।
झारखंड हाईकोर्ट ने अगस्त 2025 में गणित-विज्ञान विषय की नियुक्ति पर रोक लगाई, जबकि सुप्रीम कोर्ट ने मई 2025 में रिजल्ट जारी करने का आदेश दिया। CTET या अन्य राज्यों के TET पास अभ्यर्थियों को शामिल न करने का फैसला भी विवाद बढ़ा रहा है। JSSC का कहना है कि मेरिट आधारित भर्ती जरूरी है। अभ्यर्थी हाईकोर्ट जाने की तैयारी में हैं।