रांची, 5 जून 2025: राजधानी रांची के नागरिकों को आज एक बड़ी सौगात मिली जब मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने बहुप्रतीक्षित सिरमटोली फ्लाईओवर का विधिवत उद्घाटन किया। यह फ्लाईओवर शहर के अत्यंत व्यस्त क्षेत्रों में से एक सिरमटोली से डोरंडा तक के मार्ग को सुगम बनाने में मदद करेगा और वर्षों से झेला जा रहा ट्रैफिक जाम अब इतिहास बनने जा रहा है।
✦ समारोह में दिखा उत्सव का माहौल
फ्लाईओवर के उद्घाटन के अवसर पर पूरे मार्ग को भव्य रूप से फूलों से सजाया गया था। सुरक्षा व्यवस्था को लेकर प्रशासन ने कोई कोताही नहीं बरती थी और भारी पुलिस बल की तैनाती की गई थी। उद्घाटन समारोह में शामिल होने वाले विशिष्ट अतिथियों में झारखंड सरकार की मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की, मंत्री सुदिव्य कुमार सोनू, राज्यसभा सांसद महुआ मांझी, विधायक अमित महतो, विधायक सुरेश बैठा, और मंत्री संजय प्रसाद प्रमुख रूप से उपस्थित थे।
✦ कार्तिक उरांव के नाम पर फ्लाईओवर
अपने संबोधन में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा,
“यह फ्लाईओवर केवल एक संरचना नहीं, बल्कि शहरवासियों के लिए राहत की सांस है। रांची की घनी आबादी और जटिल ट्रैफिक को देखते हुए यह फ्लाईओवर जरूरी था। मैं यह घोषणा करते हुए गर्व महसूस कर रहा हूं कि यह फ्लाईओवर दिवंगत बाबा कार्तिक उरांव जी के नाम से जाना जाएगा, जिन्होंने समाजसेवा और आदिवासी हितों की रक्षा में महत्वपूर्ण योगदान दिया।”
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि यह समर्पण गीता श्री उरांव के पिता की स्मृति में एक आदरांजलि है, जो झारखंड की राजनीतिक और सामाजिक चेतना के प्रेरणा स्त्रोत रहे हैं।
✦ शहर को मिलेगा ट्रैफिक जाम से छुटकारा
इस फ्लाईओवर की कुल लंबाई लगभग 1.8 किलोमीटर बताई जा रही है। इसके शुरू होने से सिरमटोली चौक से डोरंडा होते हुए हिनू-हरमू मार्ग तक के मार्ग पर ट्रैफिक का दबाव काफी हद तक कम हो जाएगा। रोजाना हजारों वाहन इस मार्ग से गुजरते हैं और घंटों लगने वाला जाम अब बीते दिनों की बात हो जाएगी।
✦ मुख्यमंत्री की अगुवाई में विकास की रफ्तार
फ्लाईओवर के निर्माण को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के नेतृत्व वाली सरकार की एक बड़ी उपलब्धि माना जा रहा है। राज्य सरकार ने बीते वर्षों में रांची समेत अन्य शहरों में आधारभूत ढांचे को सुदृढ़ करने के लिए कई परियोजनाएं शुरू की हैं। सिरमटोली फ्लाईओवर उनमें से एक महत्वपूर्ण पड़ाव है।
सिरमटोली फ्लाईओवर का लोकार्पण न केवल यातायात सुधार की दिशा में एक ठोस कदम है, बल्कि यह सामाजिक दृष्टिकोण से भी महत्वपूर्ण है क्योंकि इसे एक महान आदिवासी नेता के नाम समर्पित किया गया है। यह पहल रांचीवासियों को एक नई उम्मीद और सुगम भविष्य की ओर अग्रसर करेगी।