जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए भीषण आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ सख्त कदम उठाते हुए अटारी बॉर्डर के जरिए होने वाले व्यापारिक मार्ग को पूरी तरह बंद कर दिया है। इस हमले में आतंकियों ने धर्म पूछकर 26 निर्दोष सैलानियों की बेरहमी से हत्या कर दी थी, जिसके तार सीधे पाकिस्तान से जुड़े पाए गए।
भारत सरकार के इस निर्णय का सीधा असर दोनों देशों के बीच होने वाले 3886.53 करोड़ रुपये के सीमा पार व्यापार पर पड़ा है, जो अब तत्काल प्रभाव से पूरी तरह ठप हो गया है।
तीसरे देशों के रास्ते व्यापार भी प्रभावित
ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनिशिएटिव (GTRI) के अनुसार, भारत और पाकिस्तान के बीच प्रत्यक्ष व्यापार भले ही सीमित हो, परंतु अप्रत्यक्ष रूप से भारत का लगभग 10 अरब डॉलर का सामान हर साल पाकिस्तान पहुंचता रहा है। यह व्यापार मुख्यतः दुबई, सिंगापुर और कोलंबो जैसे देशों के जरिये होता है, जहां माल के लेबल और दस्तावेज बदलकर पाकिस्तान भेजा जाता है। अब इस अप्रत्यक्ष व्यापार पर भी असर पड़ने की संभावना है।
अटारी बॉर्डर का महत्व और व्यापार पर प्रभाव
अमृतसर स्थित अटारी बॉर्डर भारत और पाकिस्तान के बीच ज़मीनी मार्ग से व्यापार का प्रमुख केंद्र रहा है। भारत द्वारा इस बॉर्डर को बंद किए जाने के बाद पाकिस्तान ने भी जवाबी कार्रवाई करते हुए भारत के साथ सभी प्रकार के व्यापारिक संबंध स्थगित कर दिए हैं।
गौरतलब है कि वर्ष 2024 में दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार में 127 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई थी, जो 1.2 बिलियन डॉलर तक पहुंच गया था। जबकि 2023 में यह आंकड़ा 0.53 बिलियन डॉलर था। हालांकि, पुलवामा हमले (2019) से पहले दोनों देशों के बीच व्यापार 3 बिलियन डॉलर के स्तर पर था।
किन वस्तुओं पर पड़ा सबसे ज्यादा असर
भारत, पाकिस्तान को फार्मास्यूटिकल्स (दवाइयां व उनकी कच्ची सामग्री), चीनी, चाय, कॉफी, कपास, लोहा, स्टील, टमाटर, नमक, ऑटोमोटिव पार्ट्स और उर्वरक जैसे प्रमुख उत्पाद निर्यात करता रहा है। वहीं पाकिस्तान से भारत में मसाले, खजूर, बादाम, अंजीर और विभिन्न औषधीय जड़ी-बूटियों का आयात होता है।
सीधे व्यापार के बंद होने के चलते अब पाकिस्तान को भारतीय सामानों के लिए तीसरे देशों पर निर्भर रहना पड़ेगा, जिससे परिवहन लागत में बढ़ोतरी होगी और इन वस्तुओं की कीमतें पाकिस्तान में और अधिक बढ़ जाएंगी। विशेषज्ञों का मानना है कि इससे पाकिस्तान का फार्मा सेक्टर खासतौर पर बुरी तरह प्रभावित होगा।
भारत पर प्रभाव अपेक्षाकृत कम
जहां पाकिस्तान को इस व्यापार निलंबन से भारी आर्थिक झटका लगने की संभावना है, वहीं भारत पर इसका प्रभाव बहुत कम पड़ेगा। भारत के लिए पाकिस्तान के साथ व्यापार का हिस्सा कुल व्यापार में बेहद छोटा है, इसलिए भारतीय अर्थव्यवस्था पर इसका कोई बड़ा असर नहीं पड़ेगा।